Covid-19: दक्षिण अफ्रीका में देखा गया कोरोना का एक और नया वैरिएंट, जानिए यह अब तक के वैरिएंट्स से कितना अलग?

भारत सहित दुनिया के ज्यादातर हिस्सों में ओमिक्रॉन और इसके सब-वैरिएंट्स के कारण संक्रमण का खतरा बरकरार है। इस बीच हालिया रिपोर्ट में शोधकर्ताओं ने दक्षिण अफ्रीका में ओमिक्रॉन के एक और नए सब-वैरिएंट का पता लगाया है। दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रीय स्वास्थ्य विभाग ने ओमिक्रॉन के नए वैरिएंट BA.2.75 की पुष्टि की है, हालांकि शोधकर्ताओं का कहना है कि वर्तमान में इसके केस बहुत कम हैं। स्वास्थ्य विभाग के प्रवक्ता फोस्टर मोहले ने बताया कि इस सब-वैरिएंट का पहली बार जुलाई में गौतेंग में एक सैंपल टेस्ट में पता चला था, हालांकि उसके बाद से यह नहीं देखा गया था। इस बीच हाल में कुछ नए सैंपल में इसकी पुष्टि की गई है।
BA.2.75 कितना खतरनाक?
ऑस्ट्रिया के वियना स्थित इंस्टीट्यूट ऑफ मॉलिक्यूलर बायोटेक्नोलॉजी में रिसर्च ग्रुप लीडर डॉ. उलरिच एलिंग कहते हैं यह उभरता हुआ सब-वैरिएंट इतना नया है कि इसके अब तक सिर्फ 400 जीनोमिक सीक्वेंस ही उपलब्ध हैं। पहले से ही विशेषज्ञों ने इस बात पर ध्यान आकर्षित किया था कि BA.2.75 में नौ म्यूटेशन्स हैं, उनमें से आठ स्पाइक प्रोटीन के लिए जीनोम कोडिंग के क्षेत्र में नए हैं।
डॉ एलिंग ने चेताया है कि BA.2 के उत्परिवर्तन इन वैरिएंट्स को आसानी से प्रतिरक्षा प्रणाली को चकमा देने में सहायता कर रहे हैं, फिलहाल यह बड़े चिंता का कारण है। इस स्थिति में जिन लोगों को टीकाकरण हो चुका है उन्हें भी संक्रमण से सुरक्षित नहीं माना जा सकता है।
अध्ययनकर्ताओं का कहना है कि फिलहाल न तो इसे ‘वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ माना गया है न ही ‘वैरिएंट ऑफ कंसर्न’। दक्षिण अफ्रीका में ओमिक्रॉन का BA.4 और BA.5 वैरिएंट प्रमुख चिंता का कारण बना हुआ है।
विशेषज्ञों का कहना है कि अभी नए वैरिएंट की प्रकृति को समझा नहीं जा सका है, इस बारे में अध्ययन किया जा रहा है। हालांकि जिस प्रकार से नए वैरिएंट्स सामने आ रहे हैं ऐसे में यह जरूर कहा जा सकता है कि संक्रमण अभी खत्म नहीं हुआ है, लोगों को विशेष सतर्कता बरतते रहने की आवश्यकता है। आइए सामने आए ओमिक्रॉन के इस नए वैरिएंट के बारे में जानते हैं।