
नई दिल्लीः अपनी मांगों को लेकर दिल्ली बाॅर्डर समेत तमाम इलाकों में चल रहा किसान आंदोलन आज शाम से खत्म हो जाएगा। मिली जानकारी के अनुसार इस संबंध में सरकार और किसान संगठनों में सहमति बन चुकी है। किसान संगठनों को किसानों पर दर्ज मुकदमें वापस करने के साथ ही सभी मांगें मंजूर होने का केंद्र सरकार की ओर से पत्र भी मिल चुका है। सूत्रों के अनुसार आज करीब 5ः30 बजे सांय स्टेज से मोर्चा फतेह की घोषणा की जाएगी। सिंघु बाॅर्डर पर किसानों ने अपने टेंट उखाड़ने भी शुरू कर दिए हैं। किसान अब मांगें पूरी होने का आश्वासन और पत्र मिलने के बाद घर वापसी की तैयारियां कर रहे हैं।
आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने इस बार सीधे संयुक्त किसान मोर्चा की 5 मेंबरी हाईपावर कमेटी से मीटिंग की। हाईपावर कमेटी के मेंबर गुरनाम चढ़ूनी, बलबीर राजेवाल, अशोक धावले, युद्धवीर सिंह और शिवकुमार कक्का नई दिल्ली स्थित ऑल इंडिया किसान सभा के ऑफिस पहुंचे, जहां वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए केंद्रीय गृह मंत्रालय के अफसर भी जुड़े। सबसे बड़ा पेंच किसानों पर दर्ज केस पर फंसा था, जिसे तत्काल वापस लेने पर केंद्र राजी हो गया।
जानकारी के अनुसार करीब 1 साल 14 दिन तक चले आंदोलन की अगुआई करने वाले पंजाब के 32 किसान संगठनों ने अपना कार्यक्रम भी बना लिया है। जिसमें 11 दिसंबर को दिल्ली से पंजाब के लिए फतेह मार्च होगा। सिंघु और टिकरी बॉर्डर से किसान एक साथ पंजाब के लिए वापस रवाना होंगे। 13 दिसंबर को पंजाब के 32 संगठनों के नेता अमृतसर स्थित श्री दरबार साहिब में मत्था टेकेंगे। उसके बाद 15 दिसंबर को पंजाब में करीब 116 जगहों पर लगे मोर्चे खत्म कर दिए जाएंगे। हरियाणा के 28 किसान संगठन भी अलग से रणनीति बना चुके हैं। पंजाब और हरियाणा के किसान संगठनों के अलावा सभी नेता अपने संगठनों के साथ मीटिंग कर आंदोलन खत्म करने की बात कह चुके हैं। हालांकि, इस पर संयुक्त किसान मोर्चे की मुहर लगनी बाकी है। इसके लिए मीटिंग शुरू हो गई है। जिसमें केंद्र सरकार से आया किसानों की मांग कबूलने वाला आधिकारिक लेटर भी दिखाया जाएगा। संयुक्त किसान मोर्चा की 5 मेंबरी हाईपावर कमेटी के सदस्य अशोक धावले ने कहा कि हमें केंद्र सरकार से मांग मंजूर करने वाला आधिकारिक लेटर मिल चुका है।